भारत का भौतिक भूगोल
पा.सं. | अध्याय शीर्षक | कौशल | क्रियाकलाप |
9 | भारत का भौतिक भूगोल | आत्म बोध, समस्या समाधान, विवेकशील सोच, निर्णय ले पाना | आस-पास के स्थलाकृतिक लक्षणों की प्रंशसा करना |
अर्थ
स्थिति एवं विस्तार
स्थिति का महत्त्व
नदियों को साफ रखना
स्वयं का मूल्यांकन कीजिए
“भारत भौतिक विविधाओं का देश है,’’
उपयुक्त उदाहरण देकर इसकी व्याख्या कीजिए।
प्र. हिमालय किस प्रकार प्राकृतिक अवरोध के रूप में कार्य करता है? स्पष्ट कीजिए।
प्र. भारत के उत्तरी मैदान में गंगा नदी प्रणाली किस प्रकार आर्थिक विकास में सहायक है?
जलवायु | |||
पा.सं. | अध्याय शीर्षक | कौशल | क्रियाकलाप |
10 | जलवायु | समलोचनात्मक बोध, समस्या समाधन, प्रभावपूर्ण संचार, निर्णय ले पाना | हमारे त्यौहार विभिन्न ऋतुओं से संबंधित हैं। |
अर्थ
मुख्य बिन्दु
अपनी समझ विकसित कीजिए
मानसून का रचनातंत्र
ऋतुएँ | महीना | तापमान | वर्षण | त्यौहार जो मानए जाते हैं |
शीत ऋतु | दिसंबर से फरवरी | कम तापमान | तामिलनाडु के तटीय क्षेत्रों के सिवाय कोई वर्षण नहीं | मकर संक्राति, पोंगल, बंसत पंचमी |
ग्रीष्म ऋतु | मार्च से मई | उच्च तापमान उष्ण तथा शुष्क पवन ‘लू’ | आम्र वृष्टि (केरल, कर्नाटक) काल वैशाखी (प. बंगाल, असम) | होली, बैसाखी |
बढ़ता दक्षिण-पश्चिम मानसून | जून से सितंबर | गर्म तथा नम | सम्पूर्ण भारत में वर्षा | ओणम (केरल) |
पीछे हटते मानसून की ऋतु | अक्टूबर नवम्बर | आर्द्र तथा उष्ण (अक्टूबर गर्मी) | बंगाल की खाड़ी में चक्रवात | दशहरा, दुर्गा पूजा, दीवाली |
स्वयं का मूल्यांकन कीजिए
जैव विविधता
पा.सं. | पाठ का शीर्षक | कौशल | क्रियाकलाप |
11 | जैव विविधता | आत्म बोध, विवेकशील सोच, समस्या समाधन, रचनात्मक सोच, निर्णय ले पाना | वृक्षारोपण, जैव विविधता बनाए रखना |
अर्थ
भारत में जैव विविधता की स्थिति
जैव विविधता का महत्त्व
भारत की प्राकृतिक वनस्पति
वनों के प्रकार | वर्षण | तापमान | वृक्षों की प्रजातियाँ | क्षेत्र | लक्षण |
उष्ण कटिबंधीय सदावहार वन | 200 से.मी. से अधिक | उष्ण | रोजवुड, आबनूस महोगनी, रबर, जैक लकड़ी, बांस | पश्चिमी घाट, असम के ऊपरी हिस्से, लक्षद्वीप अंडमान निकोबार द्वीप | ∙ इन पेड़ों की पत्तियाँ किसी विशेष मौसम में नहीं गिरती ∙ घने वनों में मिश्रित वनस्पति ∙ पेड़ों की ऊँचाई 60 मीटर या अधिक |
उष्ण कटिबंधीय पर्णपाती वन | 75-200 से.मी. | उष्ण | सागौन, बांस, साल, शीशम, चंदन, खेर, कुसुम, अर्जुन महुआ, जामुन | दक्कन के पठार, उत्तर पूर्वी क्षेत्र, पश्चिमी घाट और पूर्वी घाट के कुछ हिस्सों को छोड़कर पूरे देश में पाए जाते हैं। | ∙ नम मौसम ∙ दो भागों में विभाजित आर्द्र तथा शुष्क |
कंटीले वन | 75 से.मी. से कम | उच्च | अकासिया, बबूल कैक्टस, खजूर, ताड़ | उत्तर पश्चिम भारत, प्रायद्वीप भारत के अंदरूनी क्षेत्र | ∙ शुष्क मौसम ∙ लम्बी जड़ें चमकीली मोटी व छोटी पत्तियाँ |
ज्वारीय वन | डेल्टाओं में इकट्ठा पानी | मैंग्रोव या सुंदरी, ताड़, नारियल, क्योरा, अगर | गंगानदी, गोदावरी, कृष्णा, कावेरी सुंदर वन के डेल्टा, अंडमान निकोवार द्वीपसमूह | ∙ पेड़ों की शाखाएँ पानी में डूबी रहती हैं। ∙ साफ व नमकीन पानी में उगते हैं। | |
हिमालयी वनस्पति | तापमान के घटने और ऊँचाई बढ़ने के साथ विभिन्न प्रकार की वनस्पतियाँ मिलती है। |
जैव विविधता के संरक्षण की आवश्यकता
भारत में वन्य जीवन
स्वयं का मूल्यांकन कीजिए
‘‘जैव विविधता के संरक्षण की तत्काल आवश्यकता है’’
इस कथन की पुष्टि उपयुक्त उदाहरण देकर कीजिए।
प्र. वन्य जीव अभ्यारण्य तथा राष्ट्रीय उद्यान में अंतर स्पष्ट कीजिए।
प्र. उष्णकटिबंधीय सदाबहार वनों के किन्हीं चार लक्षणों का उल्लेख कीजिए।