उड़ीसा में बाढ़ में डूब गये 2600 गांव

उड़ीसा में बाढ़ से बदहाल जीवन
उड़ीसा में बाढ़ से बदहाल जीवन

उड़ीसा में महानदी तथा अन्य नदियों में बाढ़ आने से 19 जिलों के करीब 2,600 गांव डूब गये हैं और इस आपदा में आठ लोगों की मौत हो चुकी है। राज्य सरकार ने आज 11 लाख प्रभावित लोगों के लिए राहत तथा बचाव कार्य तेज कर दिया। आधिकारिक सूत्रों ने कहा कि बाढ़ में तीन लोग लापता भी हो गये हैं। इससे पुरी, केंद्रपाड़ा, कटक, जगतसिंहपुर, संबलपुर, बौध तथा सोनीपुर जिलों में अनेक स्थानों पर सड़क संपर्क टूट गया है। बाढ़ में जलमग्न निचले इलाकों में से करीब 61 हजार लोगों को निकाल लिया गया है और सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है। सरकार ने लाखों लोगों के लिए राहत कार्य और तेज कर दिया है। सूत्रों ने कहा कि महानदी के पानी से आई बाढ़ के चलते 13.66 लाख क्यूसेक पानी बह गया है, इसलिए सघन जनसंख्या वाले डेल्टा क्षेत्र में नदियों में अवरोधक बनाये गये हैं।

जल संसाधन विभाग के सचिव सुरेश मोहपात्रा ने कहा कि हालात में कल तक सुधार हो सकता है क्योंकि हीराकुंड बांध में जलस्तर कम होकर 628.41 फुट हो गया है। मोहपात्रा ने कहा कि महानदी और अन्य नदियों में जल प्रवाह कम हो गया है लेकिन अगले दो दिन तक हालात गंभीर रहने की संभावना है। कल पूर्णिमा होने के कारण ज्वार आने से अधिक जल को समुद्र में प्रवाह करना भी मुश्किल है।

विशेष राहत आयुक्त पी के मोहपात्रा ने कहा कि विशाखापत्तनम से एक नौसेनिक जहाज को अभियान में लगाया जा सकता है जिस पर एक हेलीकॉप्टर और राहत सामग्री होगी। वहीं नक्सल विरोधी अभियान में लगे एक हेलीकॉप्टर को खाद्य तथा अन्य जरूरी सामग्री डालने के लिए तैयार रखा गया है। उन्होंने कहा कि नदियों के तटों और तटबंधों में कटाव के कारण संपर्क से कट गये इलाकों में भोजन के पैकेट हवाई मार्ग से पहुँचाना जरूरी हो गया है।

सूत्रों ने कहा कि नराज, जोबरा, अलिपिंगला तथा दलेईघाई समेत अनेक स्थानों में जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर पहुंच गया है, वहीं अब तक करीब 11 हजार घर बाढ़ के कारण तबाह हो गये हैं। आंगुल, बालेश्वर, बारगढ़, बौध, कटक, जगतसिंहपुर, झारसुगुडा, मयूरभंज, पुरी, संबलपुर तथा सुबर्णापुर जिलों में करीब 152 राहत शिविर खोले गये हैं जहां निशुल्क भोजनालय भी हैं।

मोहपात्रा ने कहा कि राज्य सरकार ने हालात बिगड़ने की स्थिति में रक्षा मंत्रालय से भी बचाव कार्य में मदद करने को कहा है। उन्होंने कहा कि 1400 नौकाओं को भी सेवाओं में लगाया गया है। राज्य सरकार ने हालात के मद्देनजर संबंधित इलाकों के जिला कलेक्टरों को स्कूल बंद करने के निर्देश जारी किये हैं। स्थिति पर नजर रखने के लिए इंजीनियर तथा विशेषज्ञ भी डेरा डाले हुए हैं। छत्तीसगढ़ में महानदी के ऊपरी जलग्रहण क्षेत्र में बारिश से राहत मिलने के बाद कल हालात स्थिर होने के आसार हैं।
 

Posted by
Get the latest news on water, straight to your inbox
Subscribe Now
Continue reading