जल के उपयोग एवं प्रदूषण में उद्योगों की भूमिका (The role of industry in water use and pollution)
दुनिया की बेतहाशा बढ़ती आबादी ने सम्पूर्ण विश्व में जल पर गहरा संकट उत्पन्न कर दिया है। संयुक्त राष्ट्र की एक रिपोर्ट के अनुसार यदि समय रहते हुए इस सम्पदा को बचाने के ‘भागीरथ’ प्रयास न किए गए तो अन्ततः इसके भंयकर परिणाम भोगने होंगे। ऐसे में यदि जल प्रदूषण को न रोका गया तो वह दिन दूर नहीं जब मानव जल की एक-एक बूँद को तरसेगा। ‘जल-पुरुष’ के नाम से प्रसिद्ध एवं वर्ष 2001 के मैगसेसे पुरस्कार से सम्मानित श्री राजेन्द्र सिंह जी का कहना है कि भारत के दो तिहाई भूजल के भण्डार खाली हो चुके हैं एवं जो बचे हैं वे प्रदूषित हो रहे हैं। नदियों का जल पीने योग्य नहीं बचा है। ऐसा ही चलता रहा तो आर्थिक विकास, प्रगति एवं समृद्धि जैसे फलसफे धरे के धरे रह जाएँगे।
जल की उपलब्धता एवं उपभोक्ता
उद्योगों में जल का उपयोग
सारणी 1:भारत में सिंचाई एंव उद्योगों में जल की खपत का आकलन | ||||
वर्ग | वर्ष 1990 (अरब घन मीटर) | वर्ष 2010 (अरब घन मीटर) | वर्ष 2025 (अरब घन मीटर) | वर्ष 2050 (अरब घन मीटर) |
सिंचाई | 460 | 536 | 688 | 1008 |
उद्योग और ऊर्जा | 34 | 41.4 | 80 | 143 |
स्रोत:विज्ञान एवं पर्यावरण केंद्र (सी.एस.ई.) (2004) |
सारणी 2:वर्ष 2004 के लिये विभिन्न औद्योगिक इकाइयों द्वारा जल की खपत | |
औद्योगिक इकाइयाँ | उद्योगों में जल की खपत (प्रतिशत) |
थर्मल पॉवर एवं ऊर्जा उद्योग | 87.87 |
इंजीनियरिंग उद्योग | 5.05 |
कागज उद्योग | 2.26 |
कपड़ा उद्योग | 2.07 |
इस्पात उद्योग | 1.29 |
चीनी उद्योग | 0.49 |
उर्वरक उद्योग | 0.18 |
अन्य | 0.78 |
कुल | 100 |
स्रोत:विज्ञान एवं पर्यावरण केन्द्र (सी.एस.ई.) (2004) |
औद्योगिक इकाइयों की जल स्रोतों पर निर्भरता
जल प्रदूषण एवं औद्योगिक इकाइयों की भूमिका
सारणी 3:विभिन्न उद्योगों द्वारा निकले अपशिष्ट जल का विवरण | |
औद्योगिक इकाइयाँ | उद्योगों द्वारा निकाला गया अपशिष्ट जल (मिलियन घन मीटर) |
थर्मल पॉवर एवं ऊर्जा उद्योग | 27000.9 |
इंजीनियरिंग उद्योग | 1591.3 |
कागज उद्योग | 695.7 |
कपड़ा उद्योग | 637.3 |
इस्पात उद्योग | 396.8 |
चीनी उद्योग | 149.7 |
उर्वरक उद्योग | 56.4 |
अन्य | 241.3 |
कुल | 30729.2 |
स्रोत:विज्ञान एवं पर्यावरण केन्द्र (सी.एस.ई.) (2004) |